'आसिफ़ को खेलाना एक बड़ा जुआ'
२४ अगस्त २००९नशीली दवाइयों के आरोप में साल भर की पाबंदी झेल रहे मोहम्मद आसिफ़ की सज़ा 22 सितंबर को पूरी हो रही है और उसी दिन से दक्षिण अफ्रीका के जोहानिसबर्ग में चैंपियन्स ट्रॉफ़ी शुरू होने वाली है.
पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेट कप्तान और बेहतरीन बल्लेबाज़ ज़हीर अब्बास ने आसिफ़ को टीम पर लिए जाने को 'जुआ' बताया. उन्होंने कहा, "उसने एक साल से कोई क्रिकेट नहीं खेली है और उसकी मैच फ़िटनेस या बॉडी फ़िटनेस के बारे में कोई नहीं जानता है. आसिफ़ को हड़बड़ी में राष्ट्रीय टीम में शामिल करके चयनकर्ताओं ने एक बड़ा जुआ खेल दिया है."
ज़हीर अब्बास ने कहा, "बेहतर होता कि अगर राष्ट्रीय चयनकर्ताओं और बोर्ड ने आसिफ़ की पाबंदी ख़त्म होने के बाद उसे कुछ और वक्त दिया होता. उसके घरेलू क्रिकेट में खेलने के बाद ही उसके नाम पर विचार किया जाना चाहिए था." उन्होंने कहा कि किसी भी तेज़ गेंदबाज़ के लिए लंबे अर्से बाद अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में वापसी करना मुश्किल होता है और वह भी बिना घरेलू क्रिकेट में हिस्सा लिए हुए.
ज़हीर अब्बास ने कहा, "चैंपियन्स ट्रॉफ़ी के मुक़ाबले को देखते हुए मैं समझता हूं कि यह एक जुआ है और यह एक ऐसा फ़ैसला है, जो आने वाले दिनों में टीम के प्रदर्शन को प्रभावित कर सकता है."
इससे पहले अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद आईसीसी ने मोहम्मद आसिफ़ को राष्ट्रीय टीम के साथ अभ्यास करने से रोक दिया क्योंकि उन पर अभी भी पाबंदी लगी है. इसके बाद उन्हें कराची में उभरते हुए क्रिकेटरों के साथ अभ्यास करना पड़ रहा है. पिछले साल हशीश रखने के जुर्म में मोहम्मद आसिफ़ को 19 दिनों तक दुबई में हिरासत में रहना पड़ा था. इसके बाद उनके क्रिकेट खेलने पर एक साल का प्रतिबंध लगा दिया गया था.
रिपोर्टः एजेंसियां/ए जमाल
संपादनः ओ सिंह