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क्रिसमस में बारहसिंगे को बचाने की मुहिम

२२ दिसम्बर २०१०

नॉर्वे के बारहसिंगों को बचाने के लिए नई मुहिम तेज की जा रही है. उनके पैरों पर चमकने वाले रिफ्लेक्टर लगाए जा रहे हैं, जिससे वे दूर से नजर आ जाएं और दुर्घटना के शिकार न हों. हर साल 500 बारहसिंगे हादसे के शिकार होते हैं.

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तस्वीर: picture-alliance/dpa

यहां के 2000 बारहसिंगों की गर्दन पर पीले रंग का चमकीला कॉलर लगा दिया गया है या फिर उनके पैरों में वैसा ही चमकने वाला टेप लगाया गया है, जैसा आम तौर पर साइकिलों में लगाया जाता है. इससे वे दूर से दिख सकते हैं.

Spitzbergen, Polarforschung, Rentier
तस्वीर: DW/ Dr. Irene Quaile-Kersken

नॉर्वे के पब्लिक रोड प्राधिकरण के क्रिस्टियान ओयवरनेस ने बताया कि इससे सचमुच फायदा हो रहा है. इस इलाके में सर्दियों में सूरज निकलता ही नहीं.

इस इलाके में टेस्ट ड्राइव करने पर पता चला कि जिन बारहसिंगों पर पट्टी लगाई गई है, उन्हें दूर से देखा जा सकता है. हर साल बारहसिंगों की वजह से इस इलाके में कई हादसे होते हैं. कई लोग घायल होते हैं और पिछले साल तो एक व्यक्ति की इससे मौत हो गई.

यहां बारहसिंगे पालने वाले लोगों ने पहले दूसरे तरह के टेप चिपकाने की कोशिश की थी लेकिन भारी सर्दी की वजह से यह बारहसिंगों के बदन से निकल जाता था. बाद में उनमें चमकने वाली लिक्विड का स्प्रे किया गया, जिससे जानवरों की खाल खराब हो गई और उन्हें सर्दी से निपटने में दिक्कत होने लगी.

नॉर्वे में करीब दो लाख बारहसिंगे रहते हैं, जिन्हें वहीं के लोग पालते हैं. वे उनके मांस और चमड़े पर गुजारा करते हैं. बताया जाता है कि अगर नया प्रयोग सफल रहा तो बारहसिंगों के मालिक और बीमा कंपनियां ऐसे रिफ्लेक्टर खरीदने में रुचि दिखा सकते हैं.

रिपोर्टः रॉयटर्स/ए जमाल

संपादनः एस गौड़