भारत में पाक सेनाधिकारियों के ख़िलाफ़ वारंट
२२ जुलाई २०१०अदालत ने कहा है कि अमेरिका में गिरफ़्तार आतंकवादी डेविड हेडली ने 2005 से 2009 तक दिल्ली, मुंबई और दूसरी जगहों पर आतंकी हमलों में इनके शामिल होने की बात कही है. ज़िला और सत्र न्यायाधीश एसपी गर्ग ने वारंट जारी करते हुए कहा, "अभियुक्त डेविड हेडली ने अपने बयान में इन अभियुक्तों की 26/11 मुंबई हमलों सहित आतंकी गतिविधियों में भागीदारी का खुलासा किया है."
जज ने अमेरिका के इलीनॉय में पाकिस्तानी मूल के अमेरिकी नागरिक हेडली से भारत की राष्ट्रीय जांच एजेंसी एनआईए द्वारा की गई पूछताछ पर विचार किया लेकिन अपने आदेश में गोपनीयता का हवाला देकर उसका जिक्र नहीं किया. हेडली को अमेरिकी संघीय पुलिस एफ़बीआई ने पिछले साल अक्टूबर में गिरफ़्तार किया था. आतंकी गतिविधियों में भागीदारी का अपना अपराध उसने कबूल किया है.
भारतीय अदालत ने जिन पाकिस्तानी सैनिक अधिकारियों के ख़िलाफ़ मुंबई आतंकी हमलों के सिलसिले में ग़ैरजमानती वारंट जारी किया है , उनके नाम मेजर इक़बाल और मेजर समीर अली हैं. उनके साथ साथ लश्करे तैयबा के साजिद मजीद, सैयद अब्दुर रहमान और इलियास कश्मीरी के ख़िलाफ़ भी ग़ैरजमानती वारंट जारी हुआ है. यह साफ नहीं है कि पाकिस्तानी सेनाधिकारियों के नाम असली हैं या नहीं.
अदालत ने अपने आठ पेज के आदेश में जमात उद दावा प्रमुख हाफ़िज़ सईद और लश्कर के ऑपरेशन कमांडर ज़की उर रहमान के ख़िलाफ़ वारंट जारी करने से मना कर दिया. अदालत ने कहा, "चूंकि उनके ख़िलाफ़ मुंबई की अदालत द्वारा ग़ैरजमानती वारंट जारी किया जा चुका है इस मामले में वारंट जारी करने की ज़रूरत नहीं है."
वारंट जारी किए जाने के साथ अब एनआईए उनके ख़िलाफ़ इंटरपोल से रेड कॉर्नर नोटिस जारी करवा पाएगा. मामले की अगली सुनवाई 7 अक्टूबर को होगी. अदालत ने अब एनआईए से ग़ैरजमानती वारंट की स्थिति की जानकारी मांगी है.
रिपोर्ट: पीटीआई/महेश झा
संपादन: एन रंजन