मां की तलाश में शहर शहर भटकी छोटी अमाल
नौ साल की एक काल्पनिक सीरियाई लड़की के किरदार अमाल को दिखाती यह मूर्ति यूरोप में जगह जगह ‘भटक’ रही है.
मां को तलाशती अमाल
अमाल एक किरदार है. सीरिया की एक आप्रवासी लड़की जिसे दक्षिण अफ्रीका की एक कंपनी ‘हैंड्स्प्रिंग पपेट’ ने विशाल कठपुतली का रूप दिया है. ‘द वॉक’ नाम से यह कठपुतली एक यात्रा पर निकली है. इस यात्रा में अमाल की अपनी मां को खोजने की कहानी बताई गई है, जो तुर्की से शुरू हुई.
वेटिकन में अमाल
‘द वॉक’ के जरिए उन बच्चों की मुश्किलात बयान की गई हैं, जिन्हें युद्ध या दूसरी वजहों से अपने घर छोड़कर जाना पड़ता है. अमाल की यात्रा उसे कई जगह ले जाती है. जैसे इस तस्वीर में आप उसे वेटिकन स्थित एंजल्स अनअवेयर्स को गले लगाते देख सकते हैं.
पोप से मुलाकात
अमाल की मुलाकात ईसाई धर्मगुरु पोप से हो चुकी है. 10 सितंबर को पोप ने अमाल सहित कई आप्रवासी बच्चों से मुलाकात की थी.
रोम में तलाश जारी
अमाल जहां भी जाती है, लोग उसे बड़े प्यार से मिलते हैं. कुछ लोग उसे फूल देते हैं, कुछ हाथ मिलाते हैं तो कुछ उसके समर्थन में कागज पर दस्तखत भी करते हैं. रोम में 12 सितंबर को कई लोगों ने अमाल से मुलाकात की. इस कठपुतली को चलाने के लिए एक साथ चार कलाकार चलते हैं.
यूरोपीय संसद
अमाल की यूरोप यात्रा का आयोजन क्लेयर बेंजामिन नामक एक सामाजिक कार्यकर्ता ने किया है. वह दुनियाभर के बच्चों से कह रही हैं कि अमाल को पत्र लिखें और वे पत्र यूरोपीय संसद को दिए जाएंगे. ऐसे एक लाख पत्र जमा करने की योजना है.
मिलान में मंचन
जहां भी अमाल जाती है, वहां एक शो आयोजित होता है. इस शो में विशाल कठपुतली परफॉर्म भी करती है. जैसे यहां आप एक कलाकार को अमाल के चेहरे को भाव देते देख सकते हैं.
जर्मनी के कोलोन में अमाल
अक्टूबर में अमाल जर्मनी के कोलोन पहुंची, जहां उसका भव्य स्वागत हुआ. लोग खूब सज धज कर आए थे और उन्होंने अमाल के साथ डांस भी किया. जर्मनी के बाद वह इंग्लैंड जाएगी.