मंगल को एप्पल का न्योता
४ सितम्बर २०१३अगले मंगलवार से ठीक एक हफ्ते पहले एप्पल ने जो निमंत्रण भेजा है उसमें हमेशा की तरह ठीक ठीक नहीं बताया गया है कि लोगों को किस वजह से बुलाया जा रहा है. एप्पल ने पहले भी ऐसा किया है और इसी तरह के आयोजन में अपने नए मॉडल पेश किए हैं. इस बार कंपनी की नई घोषणा की उम्मीद की जा रही है कि भविष्य में सिर्फ सफेद और काले की बजाए आईफोन पांच या छह अलग अलग रंगों में बेचे जाएंगे.
इसके अलावा इस बात के भी कयास लगाए जा रहे हैं कि पहली बार एप्पल किफायती आईफोन भी बाजार में लाएगा. इस कदम से वह चीन और भारत जैसे बाजारों में अपनी बिक्री बढ़ा सकता है. बाजार के जानकारों का कहना है कि विकासशील बाजारों को नजरअंदाज कर एप्पल अपना कारोबार तेजी से नहीं बढ़ा सकता.
माइक्रोसॉफ्ट का नोकिया को खरीदना भी किफायती बाजारों में पांव जमाने की कोशिश के रूप में देखा जा रहा है. माइक्रोसॉफ्ट कंप्यूटर और टेलीफोन नहीं जोड़ पाया था, जिसकी वजह से बाजार का बड़ा हिस्सा एप्पल जैसी कंपनियों के हाथों चला गया था. अब नोकिया को खरीदकर वह भारत जैसे बाजारों में अपनी पहुंच और गहरी कर सकता है.
इस बीच गूगल ने घोषणा की है कि उसके स्मार्टफोन ऑपरेटिंग सिस्टम का नया संस्करण चॉकलेट किटकैट के नाम पर होगा. गूगल ने अपने बयान में कहा है, "चूंकि यह उपकरण हमारे रोजमर्रा को इस तरह मीठा करता है कि एंड्रॉयड का हर संस्करण चॉकलेटों के नाम पर होगा." पुराने संस्करणों का नाम भी कपकेक, डोनट, आइसक्रीम सैंडविच या जेली बीम जैसा है.
गूगल का कहना है कि एंड्रॉयड ऑपरेटिंग सिस्टम दुनिया भर में एक अरब स्मार्टफोनों और टैबलेट कम्प्यूटरों में इस्तेमाल होता है. 2013 की दूसरी तिमाही के दौरान बाजार में एंड्रॉयड का हिस्सा बढ़कर करीब 80 फीसदी हो गया, जबकि एप्पल के ऑपरेटिंग सिस्टम आईओएस का हिस्सा 13.2 प्रतिशत पर आ गया. उम्मीद की जा रही है कि इस साल नए आईफोन के आने के बाद उसका हिस्सा बढ़ेगा.
एमजे/एएम (रॉयटर्स, एएफपी)