दर्जनों देशों को एक साथ मेजबानी
१३ नवम्बर २०१२फुटबॉल संघ यूएफा के जर्मन प्रतिनिधि थियो स्वानसीगर ने बताया कि यूएफा इस बात पर विचार कर रहा है कि यूरो 2020 को सिर्फ एक या दो देशों की मेजबानी में खेलने की जगह और ज्यादा देशों में एक साथ खेला जाए. जर्मन फुटबॉल एसोसिएशन के प्रमुख रह चुके स्वानसीगर ने बताया कि इस योजना को यूएफा की कार्यकारी समिति से पुष्टि कराना जरूरी है. इसमें 16 की जगह 24 टीमों को शामिल करने की योजना है और 12 देशों की मेजबानी की बात कही गई है.
उन्होंने कहा, "मिशेल प्लाटिनी ने मेरे सामने निजी तौर पर यह प्रस्ताव रखा. लेकिन अभी इसकी पुष्टि की जानी बाकी है." इस योजना के तहत 12 देशों को एक साथ मेजबानी के लिए चुना जाएगा लेकिन इस बात का ख्याल रखा जाएगा कि प्रतियोगिता के वक्त उनकी रैंकिंग क्या है और क्या वे इसके लिए क्वालीफाई कर पाए हैं या नहीं.
जर्मन अखबार बिल्ड का कहना है कि इसके तहत अगर जर्मनी प्रतियोगिता में क्वालीफाई करता है, तो उसे अपने ग्रुप मैच बर्लिन के ओलंपिक स्टेडियम में खेलने होंगे.
प्लाटिनी ने अक्तूबर में ही कहा था कि अगर सदस्य देश राजी हो जाएं तो वह चाहेंगे कि यूरो 2020 को पूरे महाद्वीप में खेला जाए. उन्होंने बताया कि यूएफा इस मुद्दे पर लोगों की राय का इंतजार कर रहा है, "अगर ये आइडिया उन्हें पसंद आया तो हम यूरो कप को कई देशों में एक साथ होते हुए देख पाएंगे, लेकिन ध्यान रहे कि यह 2020 में ही संभव हो पाएगा."
इसके तहत शुरुआती मुकाबले अलग अलग देशों में होंगे और उसके बाद अंतिम दौर का मुकाबला किसी एक जगह पर होगा. दिसंबर में इस पर चर्चा की जाएगी और अगले साल के शुरू में आखिरी फैसला किया जाएगा.
तुर्की ने यूरो 2020 को अपने यहां आयोजित करने का प्रस्ताव रखा है लेकिन अगर उस साल इंस्तांबुल को ओलंपिक की मेजबानी मिल जाती है तो फिर यूरो कप वहां नहीं होगा.
एजेए/एनआर (रॉयटर्स, डीपीए)