पाकिस्तान में देर रात बात बंद
३० अगस्त २०१३पाकिस्तान सरकार ने मोबाइल ऑपरेटरों को रात में मुफ्त बात करने के पैकेज बंद करने का आदेश दिया है. युवाओं में बेहद लोकप्रिय हो रहे मोबाइल पर बातचीत के यह पैकेज अधिकारियों के मुताबिक "सामाजिक नियमों का उल्लंघन" करा रहे हैं. पाकिस्तान टेलिकम्युनिकेशन अथॉरिटी ने कहा है कि 2 सितंबर से मोबाइल सेवा दे रही कंपनियों को मुफ्त टॉकटाइम और थोक में एसएमएस भेजने के पैकेजों वाले ऑफर बंद करने होंगे.
अथॉरिटी के प्रवक्ता ने समाचार एजेंसी डीपीए को बताया कि सरकार ने यह आदेश शिकायतें मिलने के बाद दिया है. प्रवक्ता के मुताबिक इस तरह के पैकेज "युवा लड़के लड़कियों को भ्रष्ट" बना रहे हैं क्योंकि यह उन्हें ढेर सारी बातें करने के लिए बढ़ावा देते हैं और वो भी मुफ्त में. पीटीए अधिकारी तालिब डोगर का कहना है, "लोगों ने इसे रोकने को कहा था. ये अश्लीलता फैला रहे हैं. हम युवा लड़के लड़कियों को फ्लर्ट करने की छूट नहीं दे सकते."
सामाजिक दायरे
रुढ़िवादी मुस्लिम समाज में ज्यादातर तबकों में परिवार और रिश्तेदारों के अलावा स्त्री पुरुष के बीच संपर्क को सामाजिक रूप से स्वीकार नहीं किया जाता. इनमें कुछ संपन्न मध्यम वर्ग ही इतना उदार है जो लड़के लड़कियों को मिलने या संपर्क रखने देता है.
इसी महीने की बात है कि राजधानी इस्लामाबाद के पास एक शख्स ने अपनी किशोरी बहन की हत्या कर दी क्योंकि उसने परिवार के बाहर के एक शख्स के साथ मोबाइल पर बात की थी. ऐसे समाज में भी पांच सेल्यूलर कंपनियां अपने ग्राहकों को देर रात में बात करने के लिए आकर्षक पैकेज बेच रही थीं. पाकिस्तान में मोबाइल की घुसपैठ 60 फीसदी या इससे भी ज्यादा हो गई है. इनमें से एक कंपनी के अधिकारी ने कहा कि अगर नए नियम लागू हो गए तो उनकी कमाई घटेगी. नाम बताने को तैयार नहीं हुए इस अधिकारी का कहना है, "हमारे ज्यादातर ग्राहक 19 से 35 साल के बीच की उम्र वाले हैं. यह लोग हमारे पैकेज के जरिए अपना सामाजिक दायरा बढ़ाते हैं."
टेलिकॉम क्रांति
पाकिस्तान में 2004 से टेलिकॉम के क्षेत्र में क्रांति आने के बाद मोबाइल कंपनियों का कारोबार काफी ज्यादा बढ़ा है. यह क्रांति देश की राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था में तो बड़ा योगदान दे ही रही है हजारों लोगों को नौकरियां भी दे रही है.
वीडियो शेयर करने वाली वेबसाइट यूट्यूब पर भी पाकिस्तान में पाबंदी है. एक साल पहले पैगंबर मोहम्मद का अपमान माने जाने वाला एक वीडियो डाले जाने के बाद यूट्यूब पर पाबंदी लगा दी गई. पाकिस्तान के सूचना और प्रसारण मंत्रालय के प्रवक्ता कामरान अली ने बताया कि पाबंदी हटाने की कोई समय सीमा नहीं तय की गई है.
एनआर/एमजे (डीपीए)