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विवाद

रक्षा बजट में रिकॉर्ड इजाफा करेगा जापान

२३ दिसम्बर २०१७

दूसरे विश्वयुद्ध के बाद जापान ने लड़ाई से तौबा कर ली, लेकिन उत्तर कोरिया के बढ़ते खतरे के चलते अब जापान अपनी सेना को मजबूत करने जा रहा है.

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Japan Militärparade
तस्वीर: picture-alliance/dpa/F. Robichon

जापान की सरकार ने रक्षा बजट में रिकॉर्ड इजाफे के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है. एक अप्रैल 2018 से जापान अपनी रक्षा पर 45.76 अरब डॉलर खर्च करेगा. यह लगातार छठा साल है जब जापान ने रक्षा बजट बढ़ाया है. 137 अरब येन के रक्षा बजट से अमेरिकी हथियार और रॉकेट खरीदे जाएंगे. अब तक जापान की ज्यादातर मिसाइलें 300 किलोमीटर की रेंज वाली थीं. अमेरिकी मिसाइलें उत्तर कोरिया तक मार कर सकेंगी.

रक्षा बजट में लॉन्ग रेंज इंटरसेप्टर खरीदने का भी प्रस्ताव है. यह बैलेस्टिक मिसाइल को हवा में भी ध्वस्त करने वाला सिस्टम है. जापान के रक्षा मंत्री इंतेसुनोरी ओनोडेरा ने कैबिनेट मीटिंग के बाद कहा, "यह बहुत जरूरी है कि हम अत्याधुनिक और सबसे सक्षम उपकरणों के जरिये अपनी सुरक्षा बढ़ाएं." 2.2 अरब येन खर्च कर टोक्यो मीडियम रेंज मिसाइलें भी खरीदेगा.

उत्तर कोरिया हाल के समय में जापान के ऊपर नए किस्म की कई इंटरकॉन्टिनेंटल मिसाइलें टेस्ट कर चुका है. जापान के इकोनोमिक जोन वाले समंदर में गिरने से पहले ये मिसाइलें 4,000 किलोमीटर की ऊंचाई तक गईं. इंटरकॉन्टिनेंटल बैलेस्टिक मिसाइलों के अलावा उत्तर कोरिया हाइड्रोजन बम भी टेस्ट कर चुका है.

1945 में हिरोशिमा और नागासाकी पर परमाणु हमले के बाद जापान ने युद्ध से तौबा कर ली थी. लेकिन उत्तर कोरिया के बढ़ते खतरे और इलाके में चीन के फैलते दबदबे के चलते टोक्यो को अपनी सेना मजबूत करने पर मजबूर होना पड़ रहा है. अमेरिका के राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप चाहते हैं कि टोक्यो और वॉशिंगटन साझा उपक्रम के जरिये मिलकर हथियार विकसित करें.

ओएसजे/एमजे (रॉयटर्स)