विकीलीक्स संस्थापक का पेंटागन पर निशाना
२३ अगस्त २०१०स्वीडिश अखबार को दिए इंटरव्यू में जूलियन असांजे ने कहा कि उन्हें नहीं पता कि बलात्कार के दावे के पीछे किसका हाथ है लेकिन फिर इशारा भी कर दिया. "पक्के तौर पर मैं कुछ नहीं कह सकता पर मुझे चेतावनी दे दी गई थी कि पेंटागन हमें बर्बाद करने के लिए हर तरीके का इस्तेमाल करेगा. मुझे तो सेक्स स्कैंडल में फंसाने की साजिश के प्रति भी आगाह किया जा चुका है."
बलात्कार के आरोप के चलते ही शुक्रवार को असांजे के खिलाफ गिरफ्तारी का वारंट जारी कर दिया गया था लेकिन फिर उसे वापस भी ले लिया गया. एक समय कंप्यूटर हैकिंग में हाथ आजमा चुके 39 साल के ऑस्ट्रेलियाई नागरिक जूलियन असांजे के मुताबिक खुद पर लगे आरोपों से उन्हें धक्का पहुंचा है.
"मैंने कभी भी स्वीडन या फिर किसी अन्य देश में किसी के साथ बिना सहमति के साथ सेक्स नहीं किया." असांजे को शक है कि उनके विरोधी आने वाले दिनों में भी विकीलीक्स को नुकसान पहुंचाने के लिए इन आरोपों का इस्तेमाल कर सकते हैं. वहीं पेंटागन के प्रेस सचिव ज्यॉफ मॉरेल ने गलत हथकंडे अपनाने के जूलियन असांजे के आरोप को बकवास बताया है.
विकीलीक्स वेबसाइट का दावा है कि उस पर ऐसी खबरों, दस्तावेजों, 'तथ्यों' को सार्वजनिक किया जाता है जिन्हें आमतौर पर मीडिया माध्यमों में जगह नहीं मिलती. विकीलीक्स अपने स्रोत की पहचान गुप्त रखती है. कुछ ही दिन पहले विकीलीक्स पर अफगानिस्तान युद्ध से जुड़े करीब 77 हजार दस्तावेज प्रकाशित हुए जिससे तहलका मच गया. विकीलीक्स आने वाले दिनों में ऐसे हजारों और दस्तावेज प्रकाशित करने की योजना बना रहा है.
स्वीडन में अभियोजन पक्ष ने शनिवार को कहा कि असांजे अब बलात्कार के मामले में संदिग्ध नहीं हैं और न ही उनसे पूछताछ की जाएगी. लेकिन यौन दुर्व्यवहार के आरोप की जांच जारी रहेगी. असांजे इस महीने स्वीडन आए थे जहां उन्होंने अफगानिस्तान युद्ध से जुड़े दस्तावेजों को प्रकाशित करने के बारे में जानकारी दी.
असांजे के खिलाफ वारंट जारी करने पर उठे बवाल के बाद स्वीडन के अभियोजन पक्ष ने अपनी सफाई में कहा है कि शुक्रवार की अपेक्षा शनिवार को मामले में ज्यादा जानकारी मिली और उसके बाद वारंट वापस लेने का फैसला ले लिया गया.
अफगानिस्तान युद्ध से जुड़े दस्तावेज प्रकाशित करने के बाद से ही विकीलीक्स और पेंटागन आमने सामने हैं. अमेरिकी रक्षा मंत्री रॉबर्ट गेट्स ने वेबसाइट को नैतिक रूप से दोषी ठहराया है क्योंकि खुफिया दस्तावेजों के प्रकाशित होने से कई लोगों की जान को खतरा पैदा हो गया है. वहीं असांजे ने जोर देकर कहा है कि वेबसाइट पर आंच नहीं आने दी जाएगी.
रिपोर्ट: एजेंसियां/एस गौड़
संपादन: आभा एम