चुनाव के बहाने जानिए म्यांमार को
१ अप्रैल २०१२भौगोलिक स्थितिः म्यांमार गणतंत्र को पहले बर्मा नाम से जाना जाता था. यह दक्षिण पूर्व एशिया में है. पश्चिम में इसकी सीमाएं भारत और बांग्लादेश से, उत्तर में चीन और लाओस से और पूर्व में थाइलैंड से मिलती हैं.
क्षेत्रफलः 6,76,552 वर्ग किलोमीटर (भारत के मध्य प्रदेश राज्य का लगभग दोगुना.)
आबादीः साल 2011 में 6 करोड़ 24 लाख (भारत के कर्नाटक की आबादी के बराबर)
जातिः बर्मी (68 प्रतिशत), कई अल्पसंख्यक, जिनमें शान (9 प्रतिशत), कारेन (7 प्रतिशत) भी शामिल हैं.
राजधानीः सैनिक जुंटा ने 2005 में देश की राजधानी यंगून से हटा कर नायपीदाव कर दिया. दोनों शहरों की दूरी 400 किलोमीटर है.
धर्मः बौद्ध (89 प्रतिशत), ईसाई (5 प्रतिशत), मुस्लिम (4 प्रतिशत), हिन्दु और पशुपूजा करने वाले (2 प्रतिशत).
इतिहासः तीन बार अंग्रेजों के साथ लड़ाई के बाद ब्रिटेन ने बर्मा को 1886 में ब्रिटिश भारत में मिला लिया. 1937 में बर्मा अलग उपनिवेश बन गया. लेकिन 1942 में जापान के आक्रमण के बाद यह खत्म हो गया.
द्वितीय विश्व युद्ध में जापान की पराजय के बाद 4 जनवरी, 1948 को बर्मा को आजादी मिल गई.
सरकारः 2010 के विवादित चुनाव के बाद से म्यांमार में अपेक्षाकृत बेहतर सरकार है. लेकिन इसमें भी ज्यादातर पूर्व सैनिक अफसर भरे हुए हैं.
अर्थव्यवस्थाः देश में जबरदस्त प्राकृतिक गैस संपदा है. लेकिन इसके बाद भी एक तिहाई आबादी गरीबी रेखा के नीचे रहती है.
अफीमः अफगानिस्तान के बाद सबसे ज्यादा गैरकानूनी अफीम की सप्लाई म्यांमार से होती है.
विकास दरः अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष का अनुमान है कि मौजूदा वर्ष में म्यांमार की अर्थव्यवस्था 5.5 प्रतिशत की दर से बढ़ेगी और उसके अगले साल यह 6 फीसदी की दर से बढ़ेगी.
प्रति व्यक्ति आय लगभग 804 डॉलर (2011 में)
विदेशी कर्जः 8.2 अरब डॉलर
मुद्राः क्याट (1 क्याट = 8 भारतीय रुपया)
सेनाः लगभग चार लाख जवान
विद्रोहीः देश के कई हिस्सों में विद्रोही भरे हैं. आजादी के बाद से अलग अलग जातियों में संघर्ष चल रहा है. नई सरकार ने कई विद्रोहियों से शांति समझौता किया है.
सरकार की वेबसाइटः www.myanmar.com
संकलनः एएफपी/ए जमाल
संपादनः ओ सिंह