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कारोबार

टेस्ला के प्लांट में रंगभेद की एक और बड़ी शिकायत

१० फ़रवरी २०२२

कैलिफोर्निया की एक एजेंसी ने टेस्ला कंपनी के खिलाफ नस्ली भेदभाव के आरोप में शिकायत दर्ज कराई है. एजेंसी का कहना है कि सैकड़ों कर्मचारियों ने कंपनी में काले लोगों के साथ किए जा रहे भेदभाव को लेकर उनसे शिकायत की है.

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USA Autoindustrie l Tesla Fabrik in Fremont Kalifornien
तस्वीर: Dylan Stewart/Image of Sport/Newscom/picture alliance

इलॉन मस्क की कंपनी टेस्ला की फ्रेमोंट फैक्टरी में नस्ली भेदभाव की शिकायतें आई हैं. कैलिफोर्निया डिपार्टमेंट ऑफ फेयर इम्प्लॉयमेंट एंड हाउसिंग यानी डीएफईएच के निदेशक केविन किश ने बयान जारी कर कहा है कि एजेंसी को, "इस बात के सबूत मिले हैं कि टेस्ला की फ्रेमोंट फैक्टरी नस्ली रूप से एक अलग थलग की गई काम की जगह है जहां काले कर्मचारियों को अपमानजनक बातें कही जाती हैं. उन्हें दिए जाने वाले काम, पद, वेतन और तरक्की में भेदभाव किया जाता है."

शिकायत में कहा गया है कि फैक्टरी में काम करने वाले काले कर्मचारियों के साथ उनके मैनेजर और साथी कर्मचारी नस्लभेदी मजाक और अपमानजनक बातें कहते हैं. किश का कहना है कि उनकी एजेंसी को फैक्टरी में काम करने वाले सैकड़ों कर्मचारियों ने शिकायत भेजी है.

एजेंसी की तरफ से शिकायत दर्ज होने से ठीक पहले बुधवार को टेस्ला ने एक बयान जारी किया है. इस में कहा गया है कि कंपनी, "हर तरह के दुर्व्यवहार और भेदभाव का विरोध करती है" और यह "एक सुरक्षित, सम्मानजनक, उचित और समेकित काम की जगह" मुहैया करने के लिए प्रतिबद्ध है.

ब्लैक लाइफ मैटर की प्रतीकात्मक तस्वीर.
ब्लैक लाइफ मैटर अभियान शुरू होने के बाद नस्लभेद के बहुत से मामले सामने आए हैं.तस्वीर: Ethan Miller/Getty Images

हालांकि कैलिफोर्निया की अदालत में एजेंसी की तरफ से दर्ज कराई गई शिकायत से जो बातें सामने आई हैं उनसे एक बिल्कुल अलग तस्वीर नजर आ रही है. एजेंसी का कहना है कि जिन जगहों पर काले कर्मचारियों की नियुक्ति है उन्हें गोरे कर्मचारी नस्लभेदी ऐतिहासिक नामों से बुलाते हैं इनमें एक नाम है "प्लांटेशन." काले गुलामों को 19वीं सदी के मध्य से पहले खेतों में काम करने के लिए भेजा जाता था जहां चीनी और कपास जैसी फसलें उगाई जाती हैं.

दुर्व्यवहार से तंग आकर इस्तीफा

शिकायत में कहा गया है कि टेस्ला की फैक्टरी में गोरे कर्मचारी, "फब्तियां कसते हैं और फिर उनसे तूतू मैंमैं और हाथापाई की जाती है," जिसके बाद काले कर्मचारियों के खिलाफ ही अनुशासनात्मक कार्रवाई भी होती है. गोरे कर्मचारियों को अकसर प्लांट में सुविधाजनक व्यवहार मिलता है. इनमें उन्हें आसान काम देना और अनुशासनात्मक कार्रवाइयों में ढील बरतना शामिल है, खासतौर से काले कार्मचारियों की तुलना में.

अमेरिका में नस्लभेद की समस्या ऐतिहासिक और गहरी है. नस्ली अन्याय के खिलाफ यहां हाल के वर्षों में बहुत सारे विरोध प्रदर्शन हुए हैं जिनमें लाखों लोगों ने अफ्रीकी-अमेरिकी लोगों की पुलिस के हाथों हुई मौत के खिलाफ झंडा उठाया है. 2020 में ब्लैक लाइव मैटर्स अभियान के जोर पकड़ने के बाद अमेरिकी दफ्तरों और फैक्टरियों में नस्ली भेदभाव के ज्यादा मामले सामने आए हैं.

डीएफईएच की शिकायत से जो ब्यौरे सामने आए है वे बेहद चौंकाने वाले हैं. फ्रेमोंट की फैक्टरी में नस्ली भेदभाव की संस्कृति व्यापक पैमाने पर दिख रही है. डीएफईएच ने कहा है कि एक कर्मचारी बताया है कि उसे "हर दिन इस तरह के नस्ली उपेक्षा वाली बातें 50-100 बार" सुननी पड़ती हैं." इसके अलावा कर्मचारी नस्ली रूप से भड़काने वाले टैटू भी लगाते और काले कर्मचारियों को दिखाते हैं.

फैक्टरी में टॉयलेट से लेकर दूसरी कई जगहों पर नाजी स्वास्तिक, केकेके, गोबैक टू अफ्रीका जैसे संदेश लिखे मिलते हैं. यहां केकेके का मतलब कु क्लुक्स क्लैन से है जो गोरे वर्चस्ववादियों का गुट है.

टेस्ला के सीईओ इलॉन मस्क
इलॉन मस्क की कंपनी दुनिया में सबसे तेजी से उभरती कंपनियों में है. तस्वीर: Hannibal Hanschke/AP/picture alliance

नस्लभेद के और भी है आरोप

शिकायत में कहा गया है, "कठोर और लगातार बढ़ते नस्ली दुर्व्यवहार के कारण तनाव, दुर्व्यवहार करने वालों के साथ हाथापाई, व्यापक भेदभाव, अत्यधिक कठोर अनुशासन और शिकायतों का बेकार चले जाना, इन सब ने कामकाज की स्थिति इतनी असहनीय बना दी है कि वे लोग इस्तीफा दे रहे हैं."

अरबपति कारोबारी इलॉन मस्क की कैलिफोर्निया की फैक्ट्री में कथित भेदभाव के खिलाफ शिकायत का यह पहला मामला नहीं है. इसके अलावा भी कई और मामले दर्ज हुए हैं. दिसंबर में छह महिलाओं ने कंपनी के खिलाफ यौन दुर्व्यवहार की संस्कृति के खिलाफ मामला दर्ज कराया था.

इससे पहले अक्टूबर में कैलिफोर्निया की ज्यूरी ने टेस्ला को आदेश दिया था कि वह भूतपूर्व काले कर्मचारियों के खिलाफ फ्रेमोंट प्लांट में हुए नस्ली भेदभाव की अनदेखी करने के लिए 13.7 करोड़ डॉलर का मुआवाजा दे. पिछले साल इलॉन मस्क की कोरोना वायरस की महामारी के चलते पाबंदियों के दौर में फैक्ट्री खोलने को लेकर अधिकारियों से विवाद हुआ था. तब मस्क ने अपनी फैक्टरी राज्य से बाहर ले जाने की धमकी भी दी थी. बाद में मस्क ने अपने निवेशकों को बताया कि वह अपनी कंपनी का मुख्यालय टेक्सस ले जा रही रहे हैं जहां वह नया प्लांट भी बना रहे हैं.

एनआर/आरपी (एएफपी, एपी)